Saturday 7 February 2015

सद्गुरुदेव


ॐ सत नमो आदेश श्रीनाथजी गुरूजी को आदेश आदेश आदेश




बड़ा भाग्य सदगुरु पाया, शक्तिपात कर दीक्षा दे दीन्हा।
बड़ी करुणा करी मूर्ख पर,गुरु मंत्र फूँक अपना लिया।
परलोकों का विचरण पाया, गुरु कृपा हम पर कर दीन्हा।
तीन नाड़ी को बंध खुलायो,ज्ञान साधना सब उडेल डाला।
गुरु कन्होबा अर्थ बतायो,सिद्ध साधना सब कर डाली ।
शिव ज्योति की अलख जगाई,तब परम ज्योति भीतर घट छाई।
खट चक्रन का भेदन कर, एक लात में ब्रहमांड खिलाया।
हद से पार अनहद बजाया,घट में अम्रत वर्षा करवाया।
काल को नथ बैठ सदगुरु , साकार रूप में महाकाल दिखाया।
संशय भय सब दूर भगाया,अतिउग्र क्रोध सब शांत कराया।
परम प्रेम की वर्षा पाता, जो कोई शरण में आपके आता।
टोक रोक अनंत नीर रुकवाया, गुप्त रूप से अश्रु बहाता।
गौरान्वित सा अचम्भित देख इन अश्रु को कर समर्पित, हे गुरुदेव दूर करो अब अनंत की दूरी ।

नयन देख पावत नाहीं,पुष्प मध्य जैसे बास।
गुरु तत्व क्षण क्षण है,करत जिय में वास।।

अलख आदेश ।।।
(अनंत नाथ के द्वारा)

No comments:

Post a Comment